गोरखपुर, NOI :  कोरोना संक्रमण की दूसरी लहर में आउसोर्सिंग पर तैनात किए गए 22 लैब टेक्नीशियनों की सेवा 25 अक्टूबर को समाप्त हो रही है। इसे लेकर लैब टेक्नीशियन हंगामा कर सकते हैं। हंगामे में पूर्व में निकाले गए 350 आउटसोिर्सिंग के कर्मचारी उनका साथ दे सकते हैं। इस आशंका से एलआइयू ने जिला प्रशासन व बीआरडी मेडिकल कालेज प्रशासन को अगवत करा दिया है।
कोरोना संक्रमण की दूसरी लहर के दौरान बड़ी संख्या में लोग बीमार हो रहे थे। स्थित यह थी कि हास्पिटल फुल हो गए थे। आक्सीजन की कमी हो गई। संक्रमण पूरी तरह फैल गया था। सड़कों पर सन्नाटा पसर गया था। ऐसे में जांच का दायरा बढ़ाकर संक्रमण की रोकथाम की कोशिशें शुरू हुईं। इसमें लैब टेक्नीशियनों की कमी आड़े आई तो आनन-फानन में एक सेवा प्रदाता कंपनी के जरिये 26 अप्रैल 2021 को 22 लैब टेक्नीशियनों को आउट सोर्सिंग पर तैनात किया गया। अब कोरोना संक्रमण लगभग खत्म होने से इन्हें बाहर का रास्ता दिखाए जाने की तैयारी है।

25 अक्टूबर को इनकी सेवा हो रही समाप्त

25 अक्टूबर को इनकी सेवा समाप्त हो रही है। इनके हटाए जाने के बाद प्रतिदिन पांच हजार नमूनों की जांच में मुश्किल आएगी। क्योंकि माइक्रोबायोलाजी में केवल तीन-चार लैब टेक्नीशियन ही बचेंगे। इसके पहले भी मेडिकल कालेज प्रशासन दूसरी लहर का कहर समाप्त होने के बाद 350 कर्मचारियों को बाहर का रास्ता दिखा चुका है। वे कई बार धरना-प्रदर्शन कर चुके हैं लेकिन अभी तक उनकी दोबारा तैनाती नहीं की गई है।

लैब टेक्नीशियनों की नियुक्ति तीन माह के लिए की गई थी। जुलाई में पुन: तीन माह के लिए सेवा काल बढ़ाया गया था। उनकी सेवा 25 अक्टूबर को समाप्त हो रही है। लेकिन हो सकता है जरूरत के हिसाब से सरकार इनका कार्यकाल आगे बढ़ा दे। - डा. गणेश कुमार, प्राचार्य, बीआरडी मेड‍िकल कालेज।

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