नई दिल्ली, NOI: सुप्रीम कोर्ट ने नोएडा में सुपरटेक के ट्विन टावरों के मामले में सुनवाई के दौरान बुधवार को कंपनी को कड़ी फटकार लगाई और आदेश का पालन नहीं करने पर निदेशकों को जेल भेजने की चेतावनी दी। कोर्ट ने कहा कि कंपनी आदेश के मुताबिक घर खरीदारों को सोमवार तक पैसे वापस करे। किसी न किसी बहाने कोर्ट के आदेश की अनदेखी करने की कोशिश हो रही है। ऐसा होने पर परिणाम भुगतने होंगे।

कोर्ट ने नोएडा अथारिटी से कहा कि वह अतिरिक्त दस्तावेज व हलफनामा दाखिल कर 40 मंजिला ट्विन टावरों को गिराने की ताजा स्थिति बताए। सोमवार को फिर सुनवाई होगी। कई खरीदारों ने सुप्रीम कोर्ट में अवमानना याचिकाएं दाखिल कर सुपरटेक पर पैसा वापस नहीं करने और कम पैसा देने का आरोप लगाया है। बुधवार को मामला जस्टिस डीवाई चंद्रचूड़ और जस्टिस एएस बोपन्ना की पीठ के समक्ष सुनवाई पर लगा था। सुनवाई पर आते ही कोर्ट ने सुपरटेक के वकील से कहा कि ये क्या हो रहा है। हम आपके निदेशकों को जेल भेज देंगे।

खरीदारों के वकीलों ने कहा कि उन्हें पहले पैसा लेने के लिए बुलाया गया, फिर कहा गया कि पैसा किस्तों में दिया जाएगा। उन्हें कोर्ट के आदेश के मुताबिक पैसा नहीं दिया रहा है। इस पर जस्टिस चंद्रचूड़ ने कहा, हम देख रहे हैं कि आप कोर्ट के आदेश की अनदेखी करने की कोशिश कर रहे हैं। कोर्ट ने मौखिक तौर पर कहा, आप सोमवार तक पैसा वापस करिए, नहीं तो गंभीर परिणाम होंगे।

ट्विन टावरों को गिराए जाने के मामले में नोएडा अथारिटी के वकील ने कोर्ट को बताया कि सुपरटेक ने पहले एक एजेंसी बताई थी। अथारिटी ने उसे मंजूरी के लिए केंद्रीय भवन अनुसंधान संस्थान को भेजा। इसके बाद सुपरटेक ने दूसरी एजेंसी का प्रस्ताव भेजा है, इसीलिए अनुपालन में देर हो रही है। सुपरटेक के वकील ने कहा कि नोएडा अथारिटी टावर ध्वस्तीकरण का काम दोनों में से किसी एजेंसी से करा सकती है। इस पर कोर्ट ने नोएडा अथारिटी को निर्देश देते हुए मामले को 17 जनवरी को सुनवाई पर लगाने का आदेश दिया।

0 Comments

Leave A Comment

Don’t worry ! Your email address will not be published. Required fields are marked (*).

Get Newsletter

Advertisement