लखनऊ, NOI : केजीएमयू प्रशासन ने मातृत्व एवं बाल्य देखभाल अवकाश के लिए शपथ पत्र की अनिवार्यता का आदेश रद्द कर दिया गया है। कुलसचिव ने इस आशय का आदेश जारी कर दिया है। इससे डाक्टर कर्मचारियों ने राहत की सांस ली है। केजीएमयू में 450 डाक्टर तैनात हैं।

करीब एक हजार रेजिडेंट डाक्टर हैं। वहीं करीब आठ हजार पैरामेडिकल, स्टाफ नर्स और कर्मचारी शामिल हैं। इसमें आउटसोर्सिंग और संविदा कर्मचारी भी शामिल हैं। इन कर्मचारियों को मातृत्व व बच्चों की देखभाल के लिए आवकाश प्रदान किया जाता है। बीते दिनों कुलसचिव आशुतोष कुमार द्विवेदी ने अवकाश से पहले शपथ पत्र देने की बात कही थी। कर्मचारियों ने आदेश का विरोध किया। इसके बाद केजीएमयू प्रशासन ने शपथ पत्र की अनिवार्यता का आदेश रद्द कर दिया है। नए आदेश के अनुसार कार्मिंकों को नोटरीयुक्त शपथ पत्र नहीं देना होगा। ई-ऑफिस लागू होने की वजह से छुट्टी स्वीकृत कराने के लिए सभी को पोर्टल पर ही आवेदन करना होगा। इससे फाइल चलाने में लगने वाले समय की बचत होगी। सभी के द्वारा ली गई छुट्टी का आंकड़ा रखना भी आसान होगा।

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