चंडीगढ़ कालेज आफ आर्किटेक्टर ने राष्ट्रपति भवन की फ्लोरिंग पर की रिसर्च, पीएम मोदी ने भी की तारिफ
चंडीगढ़ NOI :- नई दिल्ली स्थित राष्ट्रपति भवन देश की कुछ खास ऐतिहासिक धरोहरों में से एक है। पहली बार राष्ट्रपति भवन से जुड़ा एक खास शोध किया गया है। यह प्रोजेक्ट खास तौर से चंडीगढ़ के प्रतिष्ठित सेक्टर-12 स्थित चंडीगढ़ कालेज आफ आर्किटेक्टर (सीसीए) की टीम को मिला था।
सात महीने की कड़ी मेहनत के बाद कालेज की चार फैकल्टी और छह मास्टर डिग्री (एम आर्क) स्टूडेंट ने राष्ट्रपति भवन की फ्लोरिंग को लेकर खास रिसर्च वर्क को अंजाम दिया है। बरसों पुरानी इस फ्लोरिंग को अब किताब की शेप में आम जन भी आसानी से समझ सकेंगे।
पूर्व राष्ट्रपति राम नाथ कोविंद, प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी, देश की 15वीं राष्ट्रपति द्रोपदी मुर्मू, उप राष्ट्रपति एम वेंकैया नायडू और केंद्रीय खेल व प्रसारण मंत्री अनुराग ठाकुर ने 24 जुलाई को सीसीए टीम द्वारा किए गए शोध की पुस्तिका का विमोचन किया। सीसीए कालेज प्रिंसिपल डा. संगीता बग्गा मेहता को इस मौके पर खास तौर से आमंत्रित किया गया था।
डा. संगीता ने कहा कि देश भर के आर्किटेक्चर कालेज और अन्य इंस्टीट्यूट में से सीसीए को चुना जाना चंडीगढ़ और कालेज के लिए बड़ी उपलब्धि है। उन्होंने बताया कि पूरे प्रोजेक्ट को लेकर राष्ट्रपति राम नाथ कोविंद ने टीम की जमकर तारीफ की। 21 जुलाई को प्रोजेक्ट से जुड़े फैकल्टी मेंबर्स प्रोजेक्ट हेड डा. संगीता बग्गा, सौम्या शर्मा, शिल्पा सूद,विपेंद्र सिंह ठाकुर और मास्टर डिग्री स्टूडेंट मधुर, इंद्रेनील,योगेश, करण, हीना और अस्वाथी से महामहिम ने मुलाकात कर सभी को बधाई दी।
यह था राष्ट्रपति भवन का प्रोजेक्ट
राष्ट्रपति भवन की फ्लोरिंग पर स्टडी के लिए देश भर से सीसीए-12 की टीम का चयन हुआ। सितंबर 2021 से मार्च 2022 के बीच दस लोगों ने राष्ट्रपति भवन के करीब पचास फीसद एरिया की फ्लोरिंग पर स्टडी कर उसे कोडिंग-डीकोडिंग किया। डा.संगीता ने बताया कि सात महीनों में छह-सात बार पूरी टीम राष्ट्रपति भवन में स्टडी के लिए गई। राष्ट्रपति भवन में दिन के समय व्यस्तता होने के कारण टीम ने कई रातों को प्रोजेक्ट पर काम किया। टीम ने सौ कमरों के अलावा दरबारा हाल और स्टेट कारिडोर की स्टडी को किताब में शामिल किया है। टीम सदस्य सौम्या शर्मा ने कहा कि पूरी टीम के लिए इस प्रोजेक्ट पर काम करना एक बहुत बड़े सम्मान की बात है। रिसर्च को राष्ट्रपति भवन की लाइब्रेरी में किताब की शेप में रखा जाएगा। देश भर के युवा आर्किटेक्ट के लिए ऐसे प्रोजेक्ट मिलना उनके करियर को नई पहचान देते हैं।
सीसीए टीम मेहमान नवाजी की हुई कायल
राष्ट्रपति भवन की फ्लोरिंग को लेकर चले रिसर्च वर्क के लिए टीम को घंटों तक काम करना पड़ता था। इस दौरान राष्ट्रपति भवन की ओर से पूरी टीम की मेहमान नवाजी में कोई कसर नहीं छोड़ी गई। टीम के सदस्य राष्ट्रपति भवन में बिताए पलों को सबसे यादगार मानते हैं।
दूसरे फेज पर रिसर्च का भी दिया प्रपोजल
चंडीगढ़ आर्किटेक्चर कालेज की टीम की ओर से पहले सफल प्रोजेक्ट के बाद अब कालेज प्रबंधन ने दूसरे फेज का प्रोपजल भी दिया है। प्रोजेक्ट हेड डा. संगीता बग्गा बताती हैं कि उन्हें उम्मीद है कि अगले प्रोजेक्ट पर भी जल्द हामी मिलेगी। उन्होंने कहा कि राष्ट्रपति भवन को लेकर किए गए काम को लेकर यूटी एडवाइजर धर्म पाल और यूटी प्रशासक बनवारी लाल पुरोहित से हर कदम पर सहयोग मिला। एडवाइजर काम की प्रगति रिपोर्ट के लिए कई बार खुद कालेज कैंपस टीम से मिलने पहुंच जाते थे।
"राष्ट्रपति भवन पर शोध की जिम्मेदारी मिलना और उसे सफलता पूर्वक पूरा करना टीम के लिए एक बड़ी उपलब्धि है। यंग आर्किटेक्ट को ऐसे प्रोजेक्ट आगे बढ़ने में बहुत मदद करते हैं। पहली बार इस तरह का शोध राष्ट्रपति भवन पर हुआ है। राष्ट्रपति सहित अन्य सभी लोगों ने टीम के काम की काफी सराहना की है।
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