करनाल, NOI, Karnal Kisan Mahapanchayat Live Update: करनाल के लघु सचिवालय में चल रहा किसानों का पड़ाव पांचवें दिन समाप्‍त हो गया। किसान नेताओं और प्रशासनिक अधिकारियों के बीच वार्ता सफल रही। दोनों पक्षों ने सामने आकर सहमति जताई। वहीं किसान नेता गुरनाम सिंह चढ़ूनी ने कहा कि बैठक से पहले संयुक्‍त किसान मोर्चा के वरिष्‍ठ नेताओं से बातचीत हो चुकी थी। मांग मान ली गई है।

करनाल में किसानों का धरना समाप्‍त हो गया है। करनाल किसान आंदोलन का पांचवां दिन अहम साबित हुआ। सिंचाई विभाग के अतिरिक्त मुख्य सचिव (एसीएस) देवेंद्र सिंह, डीसी निशांत कुमार यादव और एसपी गंगाराम पूनिया के साथ किसान नेताओं की बातचीत हुई। किसान नेताओं में मुख्‍य रूप से गुरनाम सिंह चढ़ूनी ने नेतृत्‍व किया। बातचीत सफल रही। इसके बाद दोनों पक्ष मीडिया के सामने आए और सहमति के बारे में बताया। चढ़ूनी ने कहा, मांग मान ली गई हैं।

जानिए वार्ता के प्रमुख अंश

एसीएस देवेंद्र सिंह ने कहा कि मुख्‍य रूप से दो मांगों पर सहमति बनी है। दिवंगत किसान सुशील काजल के परिवार के दो लोगों को डीसी रेट पर नौकरी दी जाएगी। इस पर सहमति हुई है।

इसके अलावा एसडीएम आयुष सिन्‍हा मामले में हाईकोर्ट के रिटायर जज के द्वारा न्‍यायिक जांच करवाई जाएगी।

इन दोनों मांगों की अवधि एक महीने रहेगी। इस एक महीने की अवधि में एसडीएम आयुष सिन्‍हा छुट्टी पर रहेंगे।

करनाल में किसानों का धरना समाप्‍त हो गया है। करनाल किसान आंदोलन का पांचवां दिन अहम साबित होने जा रहा है। आंदोलन समाप्‍त हो सकता है। प्रशासनिक अधिकारियों और किसान नेताओं की अलग-अलग बैठक चल रही है। कुछ ही देर में किसान नेताओं और अधिकारियों के बीच लघु सचिवालय में बैठक शुरू हो जाएगी। बता दें देर शाम सिंचाई विभाग के अतिरिक्त मुख्य सचिव (एसीएस) देवेंद्र सिंह के साथ हुई बैठक में दो मांगों पर सहमति बन गई।

किसानों की प्रमुख मांगें

मांग: दिवंगत किसान सुशील के परिवार केा 25 लाख रुपये मुआवजा व स्‍वजन को सरकारी नौकरी।

जवाब: सरकार मांग पूरी करने पर सहमत।

मांग: लाठीचार्ज में घायल किसानों को दो-दो लाख का मुआवजा दिया जाए।

जवाब: सरकार पूरी करने पर सहमत।

मांग: वायरल वीडियो को लेकर विवादों में घिरे आइएएस आयुष सिन्‍हा पर कार्रवाई और जांच।

जवाब: इस पर बातचीत चल रही है।

जिला सचिवालय के मुख्य गेट के सामने पांच दिन से जारी किसानों का पड़ाव शनिवार को समाप्त हो सकता है। इसकी नींव शुक्रवार को जिला सचिवालय में प्रशासनिक अधिकारियों और किसान संगठनों के प्रतिनिधिमंडल के बीच हुई तीन दौर की वार्ता में रखी गई। सवा चार घंटे चली वार्ता के दौरान मुख्य तीन मांगों पर चर्चा हुई। इनमें दो पर सहमति बन गई।

एसडीएम पर कार्रवाई की मांग पर हो रही बातचीत

आइएएस आयुष सिन्हा पर कार्रवाई और जांच को लेकर शनिवार सुबह नौ बजे फिर दोनों पक्षों में बातचीत शुरू हो गई है। वहीं देर शाम वार्ता समाप्त होने के बाद किसान नेताओं के चेहरे पर सुकून साफ नजर आ रहा था। उन्होंने कहा कि बातचीत सौहार्दपूर्ण माहौल में हुई।

जांच के लिए सेवानिवृत्त जज का नाम सुझा सकते हैं किसान संगठन

वार्ता के दौरान अधिकारियों ने किसान संगठनों के प्रतिनिधिमंडल से कहा कि जांच के लिए वे अपनी तरफ से हाई कोर्ट के किसी सेवानिवृत्त न्यायाधीश का नाम सुझा सकते हैं। उम्मीद की जा रही है कि अब प्रशासन व किसानों के बीच मामला सुलझने के कगार पर पहुंच चुका है। वार्ता के बाद किसान नेताओं ने पड़ाव के तंबू में एलान कर दिया कि शनिवार का दिन ऐतिहासिक होगा।

सकारात्मक रही बातचीत

उपायुक्त निशांत यादव ने बताया कि किसानों के प्रतिनिधिमंडल के साथ बातचीत सकारात्मक रही। कई बिंदुओं पर प्रशासन व किसानों के बीच सहमति बनी है। कुछ बिंदुओं पर चर्चा होनी है जिसके लिए शनिवार सुबह नौ बजे फिर किसान प्रतिनिधियों के साथ अधिकारियों की बैठक होगी। जल्द सकारात्मक परिणाम मिलेंगे।

 रहे किसानों के प्रतिनिधिमंडल में शामिल

भारतीय किसान यूनियन चढ़ूनी के अध्यक्ष गुरनाम सिंह चढ़ूनी, सुरेश कौथ, रतन मान, सेवा सिंह आर्य, राजेंद्र आर्य दादूपुर, रामपाल चहल, जगदीप सिंह औलख, गुरुमुख सिंह, राकेश बैंस, जसबीर भट्टी, मंजीत सिंह चौगांव, एडवोकेट मुनीष लाठर व अजय सिंह राणा शामिल थे।

प्रशासन की ओर से इन्होंने दिया भरोसा

सिंचाई विभाग के अतिरिक्त मुख्य सचिव (एसीएस) देवेंद्र सिंह, डीसी निशांत यादव, एसपी गंगाराम पूनिया।

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